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चारधाम यात्रा: 20 दिनों में 20 लाख से ज्यादा रजिस्ट्रेशन, यात्रा में अब 4 दिन शेष

हिंदू आस्था की सबसे बड़ी धार्मिक यात्रा चारधाम यात्रा को शुरू होने में अब चार दिन बचे हैं। इस साल चारधाम यात्रा 10 मई से शुरू हो रही है। केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री के कपाट 10 मई को खुल रहे हैं। जबकि बद्रीनाथ धाम के कपाट 12 मई को खुल रहे हैं। चारधाम यात्रा के लिए रजिस्ट्रेशन के आंकड़े नये रिकॉर्ड कायम कर रहे हैं। श्रद्धालुओं में चारधा यात्रा को लेकर खासा उत्साह है। शासन और प्रशासन ने लगभग सभी तैयारियां पूरी कर ली हैं। चारधाम यात्रा के लिए पंजीकरण का आंकड़ा 20.48 लाख से पार पहुंच गया है। 20 दिनों में ही श्रद्धालुओं ने रजिस्ट्रेशन का यह नया रिकॉर्ड बनाया है। इतना ही नहीं, मई महीने में ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन फुल हो चुका है। अब श्रद्धालु जून माह के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं। 15 अप्रैल से चारधाम यात्रा के लिए ऑनलाइन रजिस्ट्रेशन शुरू हुआ था। धामों में भीड़ को नियंत्रित करने के लिए ऑनलाइन पंजीकरण के लिए संख्या तय की गई। इसके आधार पर मई माह की यात्रा के लिए ऑनलाइन पंजीकरण फुल हो गए और अब श्रद्धालु जून महीने के दर्शन के लिए अपना रजिस्ट्रेशन कर सकते हैं।

श्रद्धालु चारधाम यात्रा के लिए ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन भी कर सकते हैं. बिना रजिस्ट्रेशन के कोई भी श्रद्धालु चारधाम यात्रा नहीं कर पाएगा। इस साल चारधाम यात्रा के शुरू होने के 15 दिन के भीतर कोई भी वीआईपी और वीवीआईपी दर्शन नहीं होंगे। बिना पंजीकरण के यात्रा में आने वाले श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए आठ मई से हरिद्वार और ऋषिकेश में ऑफलाइन पंजीकरण की सुविधा शुरू होगी। गौरतलब है कि श्रद्धालु उत्तराखंड पर्यटन विकास परिषद की वेबसाइट, एप, टोल फ्री नंबर और वाट्सएप के जरिए पंजीकरण करा सकते हैं। श्रद्धालु चारधाम यात्रा के लिए पंजीकरण registrationandtouristcare.uk.gov.in वेबसाइट के माध्यम से करा सकते हैं। तीर्थयात्री वाट्सएप नंबर 91-8394833833 के माध्यम से भी अपना पंजीकरण करा सकते हैं। साथ ही श्रद्धालु टोल फ्री नंबर 0135 1364 से भी पंजीकरण करा सकते हैं। तीर्थयात्री touristcareuttarakhand एप से भी अपना पंजीकरण करा सकते हैं। लैडलाइन नंबरों 0135-1364, 0135-2559898, 0135-2552627 के माध्यम से भी श्रद्धालु चारधाम यात्रा के लिए पंजीकरण करा सकते हैं। touristcare.uttarakhand@gmail.com पर मेल भेजकर भी पंजीकरण कराया जा सकता है। अगर श्रद्धालु पंजीकरण के दौरान गलत जानकारी देते हैं तो उनका पंजीकरण रद्द हो जाएगा।

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